सत्यखबर सफीदों (महाबीर मित्तल) – धारा 134ए के तहत निजी स्कूलों में फीस रहित दाखिले के लिए पिछले दिनों ली गई परीक्षा उत्तीर्ण कर चुके सैकड़ों बच्चों के अभिभावक बीईओ कार्यालय के चक्कर काट रहे हैं क्योंकि शिक्षा निदेशालय में इसकी ऑनलाइन प्रक्रिया में मनचाही गड़बडिय़ों के चलते उनका दाखिला नहीं हो पा रहा है। इस प्रक्रिया के तहत आयोजित परीक्षा में शत प्रतिशत अंक लेने वाली सफीदों के नितिन की तीसरी कक्षा की बेटी युविका भी ऐसे वंचित बच्चों में शामिल हैं जो दर-दर की ठोकरें खाकर भी दाखिल नहीं हो पाए हैं।
खंड शिक्षा अधिकारी ने बताया कि इस प्रक्रिया के तहत बच्चों को स्कूल अलॉट करने की सूचना खंड कार्यालय को भेजने की बजाय सीधे तौर पर अभिभावकों के संपर्क नंबर पर ही केवल भेजी जाती है और जब तक वे नामित निजी स्कूल में अपने बच्चों को दाखिल कराने को पहुंचते हैं तब तक ऑनलाइन प्रक्रिया में उनका स्कूल बदल दिया जाता है। अनेक मामलों में अभिभावक नामित स्कूल में अपने बच्चे को दाखिल कराना नहीं चाहते और अपील में चले जाते हैं जिसकी कोई सूचना खण्ड कार्यालय में नहीं होती। उन्होंने बताया कि दो सौ से ऊपर ऐसे पात्र बच्चे हैं जो अब तक किसी भी स्कूल में दाखिल नहीं हो पाए हैं।
इधर युविका के चाचा कपिल शर्मा का कहना है कि सरकार एक तरफ तो ड्रॉप आउट बच्चों को स्कूल में लाने का दावा कर रही है जबकि दूसरी तरफ इस प्रक्रिया के तहत पात्र बच्चों को दाखिले के लिए अनावश्यक रूप से परेशान किया जा रहा है और वह भी शिक्षा मुख्यालय में। उन्होंने कहा कि यदि एक सप्ताह के भीतर समस्या का समाधान नहीं हुआ तो परेशान अभिभावकों का प्रतिनिधिमंडल मुख्यमंत्री से मिलेगा।
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