Delhi Crime News: दिल्ली पुलिस की बड़ी सफलता, नकली नोटों के साथ 4 लाख की बरामदगी, सप्लायर और निर्माता गिरफ्तार
Delhi Crime News: दिल्ली के मध्य जिले की स्पेशल स्टाफ पुलिस को नकली भारतीय नोटों की बड़ी खेप पकड़ने में सफलता मिली है। उत्तर प्रदेश से दिल्ली आए दो नकली नोट सप्लायरों को गिरफ्तार किया गया, साथ ही पुलिस ने इस नकली नोट गिरोह के मास्टरमाइंड को भी गिरफ्तार कर लिया है, जो नकली नोट छापने का काम करता था।
इन आरोपियों की पहचान मोहम्मद जुबैर उर्फ सोनू (26), फाजिल (19) और मोहसिन (19) के रूप में हुई है। ये सभी उत्तर प्रदेश के बुलंदशहर जिले के निवासी हैं। पुलिस ने इनके पास से 100 रुपये की मुद्रा में कुल 3,98,900 रुपये के नकली नोट, एक स्कूटी, एक बाइक, प्रिंटर और नकली नोट छापने के लिए अन्य सामग्री बरामद की है।
नकली नोट गिरोह को पकड़ने के लिए स्पेशल स्टाफ की योजना
डीसीपी एम. हर्षवर्धन ने बताया कि स्पेशल स्टाफ पुलिस को एक इनपुट मिला था, जिसमें नकली नोटों के प्रसार में लगे एक गिरोह की सूचना थी। इस इनपुट पर काम करने के लिए एक विशेष टीम का गठन किया गया था, जो गुप्त सूत्रों के माध्यम से जानकारी जुटाने में लगी थी।
इसी दौरान पुलिस को जानकारी मिली कि इस गिरोह का एक अहम सदस्य, फाजिल नाम का युवक, पहाड़गंज इलाके में नकली नोटों की एक बड़ी खेप देने के लिए आने वाला है। इस सूचना के आधार पर एसआई दीपक, ओमबीर त्यागी, एएसआई संजीव, नजीर, यजुवेंद्र, हेड कांस्टेबल मुकेश, मुनेश और अन्य सदस्यों की एक टीम बनाई गई, जिसका नेतृत्व एसीपी ऑपरेशन सेल सुरेश खुगना कर रहे थे।
सूचना के आधार पर पहाड़गंज में छापेमारी
सूत्रों से मिली सूचना के आधार पर पुलिस ने सुबह 6:20 बजे पहाड़गंज के गांधी मार्केट चौराहे के पास जाल बिछाया और आरोपियों के आने का इंतजार करने लगी। करीब 6:40 बजे दो युवक एक भूरे रंग की स्कूटी पर वहां पहुंचे। उन्होंने गांधी मार्केट चौराहे से कुछ दूरी पर रुककर किसी का इंतजार करना शुरू किया। स्कूटी के पीछे बैठे युवक के हाथ में एक ग्रे रंग का बैग था।
मौके पर मौजूद मुखबिर ने स्कूटी चालक की पहचान फाजिल के रूप में की और पीछे बैठे युवक की पहचान मोहसिन के रूप में की। कुछ देर इंतजार करने के बाद जब दोनों युवक वहां से जाने लगे, तब पुलिस ने उन्हें पकड़ लिया।
करीब 4 लाख के नकली नोटों के साथ दो सप्लायर गिरफ्तार
पुलिस ने जब इन युवकों की तलाशी ली, तो शुरू में कुछ संदिग्ध नहीं मिला। लेकिन जब बैग की तलाशी ली गई, तो उसके अंदर एक सफेद पॉलिथीन बैग में 3,98,900 रुपये के नकली नोट बरामद हुए, जो 100 रुपये की मुद्रा में थे। असली नोटों से तुलना करने पर यह पाया गया कि ये सभी नोट नकली हैं। पुलिस ने तुरंत नकली नोटों को जब्त कर दोनों आरोपियों को हिरासत में ले लिया।
गिरफ्तार आरोपियों से मिली मास्टरमाइंड की जानकारी
पूछताछ के दौरान दोनों आरोपियों ने खुलासा किया कि वे इन नकली नोटों की खेप को कबीर नगर निवासी आज़हर नाम के व्यक्ति को देने आए थे। उन्होंने यह भी बताया कि वे पहले भी कई बार नकली नोटों की खेप पहुंचा चुके हैं। इसके साथ ही उन्होंने नकली नोटों की आपूर्ति के लिए जुबैर उर्फ सोनू का नाम भी लिया, जो बुलंदशहर का रहने वाला है और इस नकली नोट गिरोह का मास्टरमाइंड है।
दोनों गिरफ्तार सप्लायरों से मिली जानकारी के आधार पर पुलिस ने दिल्ली-यूपी के कई इलाकों में छापेमारी की और अंततः जुबैर उर्फ सोनू को भी गिरफ्तार कर लिया।
जुबैर की शुरुआत: नकली नोट छापने का काम
जुबैर ने पूछताछ के दौरान खुलासा किया कि उसे नकली नोट बनाने की कला असलम नाम के व्यक्ति ने सिखाई थी, जो इस समय नकली नोटों के मामले में जेल में बंद है। असलम ने जुबैर को नकली नोट छापने की मशीन और अन्य उपकरण मुहैया कराए थे, जिसके बदले में जुबैर ने उसे 30,000 रुपये दिए थे।
शुरुआत में जुबैर नकली नोटों की छोटी-छोटी खेप (5,000 से 10,000 रुपये) छापता था और उन्हें बाजार में चलाकर अपने घरेलू खर्चे पूरे करता था। लेकिन जब उसके खर्चे बढ़ने लगे, तो उसने नकली नोटों की बड़ी खेप छापना शुरू कर दिया। उसने बताया कि असलम ही इस नकली नोट गिरोह का असली सरगना है।
जुबैर पर पहले से दर्ज था नकली नोटों का मामला
जांच के दौरान पुलिस को यह भी पता चला कि जुबैर पर उत्तर प्रदेश के हापुड़ नगर में पहले से ही नकली नोटों का एक मामला दर्ज है। इस जानकारी के बाद पुलिस ने जुबैर के खिलाफ कामला मार्केट पुलिस स्टेशन में भारतीय दंड संहिता की संबंधित धाराओं के तहत मामला दर्ज कर उसे गिरफ्तार कर लिया। पुलिस अब अन्य सदस्यों और उनके नेटवर्क का पता लगाने में जुटी है।