सत्य खबर यमुनानगर
कृषि विधेयकों को लेकर न सिर्फ विपक्षी पार्टियां भाजपा से नाराज हैं, बल्कि अब पार्टी के वरिष्ठ नेताओं के दिलों से भी गुस्से के भाव बाहर आने लग गए हैं। बुधवार को हरियाणा भाजपा को उस वक्त एक बड़ा झटका लगा, यमुनानगर के रादौर से विधायक रह चुके श्याम सिंह राणा ने पार्टी का दामन छोड़ दिया। संभावना जताई जा रही है कि राणा जल्द ही इंडियन नेशनल लोकदल के चश्मे को अपना सकते हैं।
हालांकि पिछले कुछ दिनों से कयास भी लगाए जा रहे थे कि श्याम सिंह राणा भारतीय जनता पार्टी को अलविदा कहने वाले हैं। बुधवार को ये संभावना उस वक्त पूरी हो गई, जब राणा ने पार्टी के प्रदेश अध्यक्ष ओमप्रकाश धनखड़ को पार्टी की सदस्यता को त्यागने संबंधी पत्र भेज दिया। कुछ ही घंटों के अंतराल में खबर आई कि धनखड़ ने राणा का इस्तीफा मंजूर कर लिया है। श्याम सिंह राणा ने अपने पत्र में लिखा है, ‘मैं किसानों की समस्याओं को ध्यान में रखते हुए उनका समर्थन करता हूं। अपने सभी पदों व पार्टी से इस्तीफा देता हूं। मेरा इस्तीफा स्वीकार करें।’
ये है राणा का सियासी सफर
श्याम सिंह राणा के राजनैतिक सफर की बात करें तो वह पहले समाजवादी पार्टी में सक्रिय थे। वर्ष 2007 में उन्होंने भारतीय जनता पार्टी को जॉइन किया था। पार्टी में उन्हें दो बार जिला अध्यक्ष भी बनाया गया। प्रदेश कार्यकारणी के सदस्य भी रहे। 2009 में पार्टी के बैनर से रादौर सीट से विधानसभा चुनाव लड़ा, लेकिन हार गए। इसके बाद 2014 में पार्टी ने फिर से एक बार राणा पर दांव खेला और इस बार वह अच्छी वोटों से जीतकर विधानसभा पहुंचे। कुछ समय के लिए श्याम सिंह राणा सरकार में मुख्य संसदीय सचिव भी रहे।
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चुनाव लड़ने की अनुमति नहीं मिलने से नाराज था राणा का खेमा
हालांकि राणा ने अपने इस्तीफे में किसानहित को वजह बताया है, लेकिन इस बात से भी इन्कार नहीं किया जा सकता कि वह और उनके समर्थक उन्हें 2019 में विधानसभा चुनाव में उतारने की कर्णदेव कंबोज को मौका दिए जाने से नाराज थे। कर्णदेव ने भी हार का ठीकरा राणा के सिर फोड़ा। राणा पर आरोप लगे कि उन्होंने अपने समर्थकों को फोन करके कर्णदेव का समर्थन करने से रोका था। दूसरी ओर सूत्रों की मानें तो अब पिछले कुछ समय से बीजेपी की ओर से किसी भी कार्यक्रम की सूचना राणा को नहीं दी जा रही थी। न ही किसी कार्यक्रम में आने का निमंत्रण उन्हें दिया जा रहा था।
क्या होगा अगला कदम?
अब जबकि पार्टी की नीतियों से नाराज राणा ने इस्तीफा दे दिया है और पार्टी आला कमान की तरफ से उनका इस्तीफा मंजूर कर लिया गया है तो सवाल उठता है कि अब उनका अगला कदम क्या होगा। हालांकि राणा ने कहा, ‘अभी यह तय नहीं किया कि वह किस पार्टी में शामिल होंगे। यह सब उनके समर्थक ही तय करेंगे। समर्थकों की राय लेकर आगे की रणनीति तय कर जाएगी’।
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