सत्य खबर, नई दिल्ली
आर्थिक संकट से जूझ रहे श्रीलंका को आज नया राष्ट्रपति मिल गया। रोचक मुकाबले में रानिल विक्रमसिंघे ने 134 वोट प्राप्त किए और श्रीलंका के नए राष्ट्रपति चुने गए हैं। गोटाबाया के देश छोड़कर भाग जाने के बाद रानिव विक्रमसिंघे को प्रधानमंत्री से कार्यवाहक राष्ट्रपति बनाया गया था। उनके प्रतिद्वंद्वी के रूप में पहले विपक्षी नेता साजिथ प्रेमदासा ने खुद को राष्ट्रपति पद का उम्मीदवार घोषित किया था, लेकिन वोटिंग से ठीक एक दिन पहले उन्होंने उम्मीदवारी वापस ले ली थी। जीत के बाद श्रीलंका के नवनियुक्त राष्ट्रपति रानिल विक्रमसिंघे कोलंबो में श्रीलंकाई संसद को संबोधित किया। उन्होंने कहा कि देश बहुत मुश्किल स्थिति में है, हमारे सामने बड़ी चुनौतियां हैं। बता दें कि श्रीलंका में अब तक के सबसे भीषण आर्थिक संकट से निपटने में सरकार की नाकामी के बाद लोग सड़कों पर उतर आए और हिंसक विरोध-प्रदर्शन किया। देश में राजनीतिक उथल पुथल तथा फैले अराजकता के माहौल के बीच गोटबाया राजपक्षे देश छोड़कर भाग निकले थे और राष्ट्रपति पद से इस्तीफा दे दिया था। बुधवार को कड़ी सुरक्षा व्यवस्था के बीच राष्ट्रपति चुनाव गुप्त मतदान के जरिए कराया गया।
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प्रेमदासा ने पीएम मोदी से की है अपील
इस सबके बीच विपक्ष के नेता साजिथ प्रेमदासा ने भारत के प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी से भी अपील की है कि देश का नया राष्ट्रपति कोई भी क्यों न बने लेकिन भारत जिस तरह से लगातार इस मुश्किल वक्त में श्रीलंका की मदद कर रहा है वह आगे भी जारी रखें।
गौरतलब है कि जब से श्रीलंका में आर्थिक संकट के हालात खड़े हुए हैं, तब से भारत ही एकमात्र ऐसा देश है जो लगातार श्रीलंका की मदद कर रहा है और यह बात श्रीलंका की आम जनता से लेकर राजनीति तक सब समझ रहे हैं।
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