सत्यखबर, चढ़ीगढ़
हरियाणा के राहत शिविरों में ठहरे दूसरे राज्यों श्रमिकों और कर्मचारियों को उनके गृह राज्य भेजा जा रहा है। शनिवार के बाद रविवार को भी जारी रहा। हरियाणा सरकार ने इस कार्य में रोडवेज की 375 बसों को लगाया है। हजारों श्रमिकों को राज्य के विभिन्न स्थानों से उत्तर प्रदेश और अन्य राज्यों के लिए रवाना किया गया है। हरियाणा राज्य परिवहन की बसें इन श्रमिकों को उत्तर प्रदेश में बनाए गए सरकारी शिविरों में छोडऩे की जिम्मेदारी दी गई है। प्रदेश सरकार ने करीब 70 हजार श्रमिकों,मजदूरों व कर्मचारियों के ठहरने का इंतजाम करते हुए राहत शिविर बनाए थे,लेकिन इनमें दूसरे प्रदेशों के करीब 15 से 16 हजार लोग ठहरे हुए थे। यह मजदूर कई बार अपने घरों को लौटने का दबाव सरकार पर बना चुके हैं। अब उनकी क्वारंटाइन अवधि भी लगभग पूरी हो चुकी है। लिहाजा सरकार ने उन्हें उनके प्रदेश छोड़कर आने की योजना तैयार की है। सबसे पहले हरियाणा में रह रहे उत्तर प्रदेश के लोगों को उनके प्रदेश में भेजा जा रहा है। गेहूं की कटाई व अगली फसल की तैयारी के सीजन में अचानक हजारों मजदूरों के हरियाणा से बाहर जाने पर प्रदेश के किसान सकते में हैं। मजदूरों के उत्तर प्रदेश लौटने से हरियाणा के उद्योगपति भी सहमे हुए हैं। आने वाले दिनों में उन्हें भी लेबर की समस्या का सामना करना पड़ सकता है। हरियाणा में लॉकडाउन के चलते सरकार द्वारा बनाए गए शेल्टर होम में हजारों मजदूरों को रखा गया था। इनमें अधिकतर उत्तर प्रदेश के विभिन्न जिलों से संबंधित हैं।
किस जिले से कितनी बसें हुई उत्तर प्रदेश रवाना
जिला बसें
अंबाला-…………………………………………………………………………… 110
यमुनानगर-………………………………………………………………………. 80
रेवाड़ी- ………………………………………………………………………………..50
करनाल-……………………………………………………………………………. 35
सोनीपत-…………………………………………………………………………….. 35
पानीपत- ……………………………………………………………………………..35
कुरुक्षेत्र-……………………………………………………………………………….. 30
बता दे की हरियाणा के सीएम समेत तमाम मंत्री व अधिकारी दूसरे प्रदेश के मजदूरों को प्रदेश में गेहूं कटाई,मनरेगा कार्य तथा उद्योगों में नौकरी देने की बात कर रहे थे। इसी बीच शुक्रवार को हुए अभूतपूर्व घटनाक्रम के बाद शनिवार की सुबह से हरियाणा के विभिन्न जिलों से राज्य परिवहन की बसें इन मजदूरों को लेकर उत्तर प्रदेश के लिए रवाना होनी शुरू हो गई है। सरकार ने इन मजदूरों को उत्तर प्रदेश की सीमा में छोडऩे के लिए 375 बसों को रातभर सैनिटाइज करवाकर सुबह सडक़ों पर उतार दिया है। इसके अलावा सभी डिपो में बीस-बीस बसों को आरक्षित रखा गया है। माना रहा है कि दो दिन के भीतर हरियाणा के शेल्टर होम में ठहरे उत्तर प्रदेश के प्रवासी मजदूरों को वापस भेज दिया जाएगा।
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