सत्यखबर, नई दिल्ली
कौन कहता है कि आसमान में छेद नहीं हो सकता, एक पत्थर तो तबीयत से उछालो यारों… हौंसला देने वाली इन पंक्तियाें को देश को पैरालंपिक में गोल्ड मेडल दिलाने वाली राजस्थान की अवनि ने बखूबी चरितार्थ किया है. कहते हैं कि इरादे मजबूत हो और होसलों की उड़ान लंबी हो तो एक न एक दिन मंजिल मिल ही जाती है, तब चाहे राहों में कितनी ही मुश्किलें क्यों न आए. गोल्ड जीतने पर राजस्थान की अवनि लेखरा के घर भी उत्साह का माहौल है. ढोल नगाड़ों के साथ अवनि के घर जश्न चल रहा है. परिजनों को बेटी की इस कामयाबी के लिए बधाई देने वालों का तांता लगा हुआ है.
टोक्यो पैरालिंपिक में अवनि लेखरा ने 10 मीटर एयर राइफल में भारत को पहला गोल्ड दिलाया है.फाइनल में 249.6 पॉइंट हासिल कर उन्होंने यूक्रेन की इरिना शेटनिक के रिकॉर्ड की बराबरी की. शूटिंग में गोल्ड जीतने के साथ ही अवनि देश की पहली महिला खिलाड़ी बन गई, जिसने ओलिंपिक या पैरालिंपिक में गोल्ड मेडल जीता हो. जयपुर की रहने वाली अवनि के दादाजी गंगाराम लेखरा ने बताया कि 9 साल पहले भरतपुर में कार एक्सीडेंट में अवनि ने अपने दोनों पैर गंवा दिए थे.अवनि व्हीलचेयर पर हैं.एक्सीडेंट के बाद बेटी पूरी तरह टूट चुकी थी. चुप रहने लग गई थी. किसी से बात नहीं करती थी, पूरी तरह डिप्रेशन में चली गई थी. इतनी कमजोर हो गई थी कि कुछ कर नहीं पाती थी.अवनि के भाई ने बताया कि हम लोगों को मेडल की उम्मीद थी.मगर यह नहीं सोचा था कि गोल्ड आ जाएगा.परिवार ने बताया कि 9 साल पहले अवनी का एक्सीडेंट शिवरात्रि के दिन हुआ था और आज जन्माष्टमी के दिन उसने मेडल हासिल किया है.
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अवनि के दादाजी ने बताया कि अवनि अभी एलएलबी कर रहीं और जज बनना चाहती हैं. वह खेल और पढ़ाई दोनों में अव्वल है. भारत की महिला निशानेबाज अवनि लेखरा ने, जिन्होंने 10 मीटर एयर स्टैंडिंग में पैरालिंपिक्स रिकॉर्ड बनाते हुए देश के लिए सुनहरी जीत दर्ज की. अवनि लेखारा ने फाइनल में 249.6 पॉइंट हासिल किए, जो कि पैरालिंपिक्स खेलों के इतिहास का नया रिकॉर्ड है. साथ ही ये वर्ल्ड रिकॉर्ड की बराबरी भी है. ये अवनि का पहला पैरालिंपिक्स था और अपने पहले ही प्रयास में उन्होंने बता दिया कि वो यहां कोई अनुभव बटोरने नहीं बल्कि मेडल पर निशाना लगाने आईं है और उन्होंने वही करते हुए देश का गौरव बढ़ाया. टोक्यो पैरालंपिक में अवनि लेखरा को स्वर्ण जीतने पर राजस्थान सरकार ने 3 करोड़ देने का ऐलान किया है. वहीं देवेंद्र झाझड़िया को रजत जीतने पर 2 करोड़ और सुन्दर सिंह गुर्जर को कांस्य पदक जीतने पर 1 करोड़ रूपये की राशि इनाम स्वरुप देने की गहलोत सरकार ने घोषणा की है. सीएम अशोक गहलोत ने कहा कि तीनों खिलाड़ियों को पहले से ही राज्य सरकार के वन विभाग में एसीएफ के पद पर नियुक्ति दी हुई है. प्रदेश के खिलाड़ियों ने पदक जीतकर देश-प्रदेश का नाम रोशन किया है, हमें उन पर बेहद गर्व है.
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