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Rail Roko Andolan से यात्री परेशान, समय पर ट्रेन न मिलने पर की किसानों और सरकार से अपील

Rail Roko Andolan: किसानों के आंदोलन के कारण बुधवार को साहनेवाल में रेलवे ट्रैक पर किसानों द्वारा किए गए रेल रोको आंदोलन के चलते यात्रियों को काफी परेशानी का सामना करना पड़ा। इस आंदोलन के कारण लुधियाना की ओर आने-जाने वाली कई ट्रेनें रुक गईं, जिससे रेलवे स्टेशन पर खड़ी ट्रेनें और यात्रियों की परेशानियां बढ़ गईं। लुधियाना रेलवे स्टेशन पर पांच ट्रेनें खड़ी हो गईं, वहीं दांदरी रेलवे स्टेशन पर एक ट्रेन खड़ी रही। इसके अलावा, अंबाला से आने वाली और जम्मू से जाने वाली कई ट्रेनों में भी देरी हो गई। इस आंदोलन के कारण यात्रियों को कई घंटों तक इंतजार करना पड़ा और उन्हें खासा असुविधा का सामना करना पड़ा।

स्वर्ण शताब्दी समेत कई ट्रेनों में देरी

आंदोलन के कारण स्वर्ण शताब्दी एक्सप्रेस जो दिल्ली से आ रही थी, वह दांदरी में रुक गई। इस ट्रेन के यात्रियों को काफी परेशानी का सामना करना पड़ा। इसके अलावा, 2497 शान-ए-पंजाब एक्सप्रेस को भी लुधियाना रेलवे स्टेशन पर रोका गया और यह ट्रेन पिछले तीन घंटों से वहीं खड़ी रही। इसके अलावा, 04653 अमृतसर दरभंगा, 2497 न्यू दिल्ली अमृतसर एक्सप्रेस और 22318 जम्मू तवी-सीलदह एक्सप्रेस ट्रेनें भी लुधियाना में खड़ी हो गईं। इसी तरह, 11356 अमृतसर दादर लुधियाना एक्सप्रेस ट्रेन भी रेलवे स्टेशन पर खड़ी रही। इन सभी ट्रेनों में यात्रियों को अत्यधिक देरी और असुविधा का सामना करना पड़ा।

यात्रियों की अपील: आंदोलन से कोई फायदा नहीं होगा

यात्रियों ने इस स्थिति को लेकर अपना दुख और नाराजगी व्यक्त की। रवि कुमार और जितेंद्र नामक दो यात्रियों ने बताया कि वह पिछले चार घंटों से रेलवे स्टेशन पर बैठे हुए हैं, लेकिन ट्रेनों का संचालन पूरी तरह से ठप हो गया है। उनका कहना था कि किसानों द्वारा बार-बार ट्रेनें रोकने से आम जनता को ही ज्यादा परेशानियों का सामना करना पड़ता है। उन्होंने किसानों से अपील की कि आंदोलन का तरीका बदलें, क्योंकि इससे किसी को फायदा नहीं होगा।

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रवि कुमार ने कहा, “किसानों को समझना चाहिए कि बार-बार ट्रेनें रोकने से केवल आम लोग परेशान हो रहे हैं। इस तरह से राष्ट्रीय रेल मार्ग पर प्रभाव पड़ रहा है, जिससे पूरे देश का रेलवे नेटवर्क प्रभावित हो रहा है।” उन्होंने यह भी कहा कि केंद्र सरकार को इस मुद्दे को हल करने के लिए किसानों से बातचीत करनी चाहिए और जल्द से जल्द समाधान निकालना चाहिए।

किसानों से अपील: रेलवे सेवाओं को प्रभावित न करें

किसानों को इस बात का एहसास होना चाहिए कि रेल मार्ग पर आंदोलन करने से न केवल रेलवे सेवा बाधित होती है, बल्कि यात्रियों को भी भारी परेशानी होती है। इससे पूरे देश में अन्य यात्रियों की यात्रा पर भी असर पड़ता है। यात्री चाहते हैं कि सरकार और किसान दोनों मिलकर इस समस्या का समाधान निकालें और आंदोलन के प्रभाव को कम करें।

रेलवे की तैयारियां और सुरक्षा इंतजाम

किसानों के आंदोलन के मद्देनजर रेलवे प्रशासन ने सुरक्षा इंतजामों को बढ़ा दिया है। रेलवे स्टेशन पर आरपीएफ और जीआरपी की गश्त बढ़ा दी गई है, ताकि कोई अप्रिय घटना न हो। इसके अलावा, यात्रियों की सुरक्षा सुनिश्चित करने के लिए आवश्यक व्यवस्थाएं भी की गईं। रेलवे के अधिकारियों ने कहा कि यात्रियों को कोई समस्या न हो, इसके लिए वे पूरी तरह से सतर्क हैं और स्थिति पर नजर बनाए हुए हैं।

तारन तारन रेलवे स्टेशन पर पुलिस का कड़ा बंदोबस्त

वहीं, तारन तारन रेलवे स्टेशन पर भी किसानों के आंदोलन का असर पड़ा। किसानों ने बुधवार को 12 बजे से लेकर 3 बजे तक रेलवे ट्रैक पर धरना दिया और यहां रेलवे सेवा ठप हो गई। धरने के दौरान किसानों ने चाय और लंगर भी वितरित किया। किसानों के द्वारा किए गए इस आंदोलन के कारण रेलवे स्टेशन पर पुलिस का कड़ा बंदोबस्त था। पुलिस ने रेलवे स्टेशन के दोनों ओर ट्रैक्टर-ट्रॉलियां और दोपहिया वाहनों को खड़ा किया था, जिससे रेलवे स्टेशन पर पुलिस की भारी तैनाती देखने को मिली।

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हालांकि, शाम होते-होते डीएमयू ट्रेन की सेवा बहाल कर दी गई, लेकिन इस ट्रेन में यात्रियों की संख्या बहुत कम थी। यह स्थिति इस बात को दर्शाती है कि आंदोलन के कारण यात्रियों को ना केवल समय की बर्बादी हुई, बल्कि रेलवे सेवा पर भी इसका प्रतिकूल प्रभाव पड़ा।

किसानों का आंदोलन अपने-आप में एक बड़ा मुद्दा है, लेकिन इसे जिस तरीके से रेल रोको आंदोलन के रूप में किया जा रहा है, वह आम जनता के लिए परेशानियों का कारण बन रहा है। यात्री अब यह उम्मीद कर रहे हैं कि किसान नेताओं और सरकार के बीच जल्द ही वार्ता होगी और इस मुद्दे का समाधान निकाला जाएगा। दोनों पक्षों को यह समझना होगा कि उनके आंदोलन का असर केवल रेलवे पर नहीं, बल्कि लाखों लोगों की दैनिक यात्रा और जीवन पर भी पड़ता है। इस मुद्दे का हल जल्द से जल्द निकाला जाना चाहिए, ताकि यात्रियों को ऐसी परेशानियों से बचाया जा सके।

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