सत्य खबर, भिवानी। बीजेपी द्वारा 1 अगस्त से 14 अगस्त तक तिरंगा यात्रा निकाली जा रही है। जिसकी शुरूआत रविवार को भिवानी के बहल कस्बे से हुई है। बहल से शुरू हुई तिरंगा यात्रा 38 किलोमीटर का सफर तय करके लोहारू के स्वर्ण जयंती पार्क में खत्म होगी। वहीं किसानों द्वारा विरोध नहीं किए जाने पर बीजेपी ने राहत की सांस ली है। हालांकि यात्रा अपने निर्धारित समय से 2 घंटे देर से शुरू हो पाई। बीजेपी के प्रदेश अध्यक्ष ओमप्रकाश धनखड़ व मंत्री जेपी दलाल ट्रैक्टर पर सवार होकर यात्रा की अगुवाई कर रहे हैं। दूसरी तरफ किसानों ने तिरंगा यात्रा का विरोध नहीं करने की बात कही है। हालांकि उनका शक्ति प्रदर्शन भी जारी रहेगा। तिरंगा यात्रा के बराबर में किसानों ने भी बहल में किसान महापंचायत बुलाई है।
तिरंगा यात्रा से लग रहा है कि आंदोलन कर रहे किसान बीजेपी की चाल में फंस गए हैं। अगर यात्रा का विरोध होता तो बीजेपी यह दिखाने की कोशिश करती कि किसान तिरंगे का विरोध कर रहे हैं। लेकिन विरोध नहीं हुआ तो 8 महीने के अंतराल में यह पहली बार होगा जब बीजेपी कार्यक्रम करने में सफल हो गई है। फिलहाल दोनों ही तरफ का पलड़ा भारी दिखाई दे रहा है। वहीं इसमें रोड़ा अटकने भी संभावना है। दरअसल तिरंगा यात्रा को कामयाब होते देख बीजेपी किसी बड़े नेता को इसमें शमिल करने का प्रयास कर सकती है। जबकि एसकेएम बड़े नेताओं का विरोध करने का ऐलान कर चुका है।
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संयुक्त किसान मोर्चा की तरफ से जारी ब्यान में किसान नेता अभिमन्यु कोहाड़ ने बताया कि किसानों को बदनाम करने के लिए बीजेपी तिरंगा यात्रा कर रही है। ये किसानों को बदनाम करने के लिए रची गई बीजेपी की एक साजिश है। इसलिए किसान मोर्चा ने फैसला लिया है कि तिरंगा यात्रा का विरोध नहीं किया जाएगा। लेकिन अगर यात्रा में कोई बड़ा भाजपा नेता शामिल होता है तो किसान विरोध करेंगे। अब देखना ये है कि इस तिरंगा यात्रा में बीजेपी का रूख क्या रहेगा और किसानों का रूख क्या मोड़ लेगा।
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