सत्यखबर
पिछले दिनों प्रदेश के स्कूलों से हटाए गए पीटीआइ व कला अध्यापकों के लंबित लाभों पर भी फिलहाल ब्रेक लग गया है। इसको लेकर महानिदेशक मौलिक शिक्षा हरियाणा शिक्षा सदन, सेक्टर 5 पंचकूला ने प्रदेश के सभी जिला मौलिक शिक्षा अधिकारियों को पत्र लिख उक्त अध्यापकों के लंबित लाभ रोकने के निर्देश दिए हैं।
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महानिदेशक ने जिला मौलिक शिक्षा अधिकारियों को पत्र में लिखा की वर्ष 2010 में 1983 पीटीआइ अध्यापकों व 816 कला अध्यापकों की नियुक्ति प्रदान की गई थी। सर्वोच्च न्यायालय के आदेश की अनुपालना में उक्त सभी कर्मचारियों की सेवाएं समाप्त कर दी गई थी। मामले में पीटीआइ व कला अध्यापकों द्वारा वर्ष 2010 से 2020 तक की गई सेवा अवधि के दौरान एलटीसी, एसीपी, मेडिकल बिल, एरियर, एनपीएस, एमएफए, चिल्ड्रन एजुकेशन अलाउंस, जीआइएस, ईएल, उपहार की मांग की गई है।
इस बारे में निदेशालय स्तर पर एक कमेटी गठित की गई है, जिसमें उक्त मांगों के बारे में निर्णय लिया जाएगा। निर्देश दिए जाते हैं कि वर्ष 2010 में नियुक्त पीटीआइ व कला अध्यापकों के लंबित लाभ कमेटी के रिपोर्ट प्राप्त होने व आगामी आदेशों तक जारी न किए जाएं।
पानीपत से भी हटे थे अध्यापक
सर्वोच्च न्यायालय के आदेश की अनुपालना में जिले के स्कूलों से भी पीटीआइ व कला अध्यापकों को हटाया गया था। इसी माह प्रदेश भर के स्कूलों से 816 कला अध्यापकों की सेवाएं समाप्त की गई। पानीपत जिले की बात करें तो पचास के करीब कला अध्यापक हटाए गए थे।
जारी करो जेबीटी का वेतन
निदेशक मौलिक शिक्षा हरियाणा, पंचकूला ने सभी जिला मौलिक शिक्षा अधिकारियों को पत्र लिख जेबीटी शिक्षकों का रुका वेतन जारी करने के निर्देश दिए हैं। पत्र के मुताबिक निदेशालय के यादी क्रमांक दिनांक एक व चार फरवरी 2021 के संदर्भ में लिखा जाता है कि विभाग द्वारा अंतर जिला स्थानांतरित किए गए अध्यापकों का वेतन निकलवाने के बारे में तुरंत आगामी कार्यवाही करने के बारे में लिखा जा चुका है, लेकिन अभी भी कुछ अध्यापकों का वेतन डीडीओ द्वारा निकलवाया नहीं जा रहा है, जोकि गंभीर चूक है। इसलिए बचे अध्यापकों का नियमानुसार वेतन निकाल कर की गई कार्यवाही से निदेशालय को सूचित करे। यदि मामले में किसी प्रकार की लापरवाही होती है तो इसके जिम्मेदार आप स्वयं होंगे। बता दें कि नवंबर 2020 में 2544 जेबीटी शिक्षकों के तबादले हुए थे।
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