सत्य खबर, नई दिल्ली। Khalistani Paramjit Singh Panjwar shot dead
दुर्दांत वांछित खालिस्तानी आतंकी परमजीत सिंह पंजवर की शनिवार को लाहौर में हत्या कर दी गई. खुफिया सूत्रों के मुताबिक शनिवार सुबह दो अज्ञात बंदूकधारियों ने खालिस्तान कमांडो फोर्स के चीफ और आतंकवादी परमजीत सिंह पंजवर उर्फ मलिक सरदार सिंह को गोली मार दी. घटना को अंजाम पाकिस्तान के लाहौर स्थित जौहर टाउन में दिया गया.
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बताया गया है कि परमजीत जौहर कस्बे में सनफ्लावर सोसाइटी में अपने घर के पास सुबह करीब 6 बजे टहल रहा था. इसी दौरान मोटरसाइकिल पर सवार दो अज्ञात लोग आए और आतंकी पर ताबड़तोड़ फायरिंग कर दी, जिसे घायल अवस्था में अस्पताल में भर्ती कराया गया. इलाज के दौरान उसकी मौत हो गई. परमजीत सिंह को जुलाई 2020 में यूएपीए के तहत भारत सरकार ने आतंकवादी घोषित किया था.
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पंजाब के तरनतारन के गांव में जन्मे 59 वर्षीय परमजीत सिंह पंजवर सिख उग्रवाद, हत्या, नशीली दवाओं और हथियारों की तस्करी आदि में लिप्त था. इससे पहले वह सोहल में एक केंद्रीय सहकारी बैंक में काम करता था. इसके बाद वह पंजाब में आतंकियों के संपर्क में आया है और 1986 में केसीएफ का गठन किया. वह भारत में हिंसा के लिए हथियार और नशीली दवाइयां सप्लाई करता था.
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परमजीत पर टाडा एक्ट समेत तमाम धाराओं में करीब 2 दर्ज मामले भारत में दर्ज हैं. अधिकारियों के मुताबिक वर्ष 1986-87 में पंजाब में कई आतंकवादी समूहों का गठन हुआ था. इनमें से एक केसीएफ भी था. इसकी शुरुआत वासन सिंह जफरवाल ने की थी. इसके बाद इसमें सुखदेव सिंह उर्फ सुखा निवासी पंजवार (जो पुलिस विभाग में कांस्टेबल था) शामिल हो गया.
सुखा पुलिस विभाग से फरार था. वर्ष 1989 में सुखदेव सिंह पुलिस मुठभेड़ में मारा गया था. इसके बाद कंवरजीत सिंह इस संगठन का प्रमुख बना और परमजीत सिंह पंजावार उप निदेशक. कंवरजीत सिंह की मृत्यु के बाद परमजीत सिंह इस संगठन का प्रमुख बन गया. वह पिछले लंबे समय से भारत से फरार होकर पाकिस्तान में नाम बदलकर रह रहा था. उसकी पत्नी और दो बच्चे जर्मनी में रहते हैं.
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परमजीत वर्तमान में पाकिस्तान के लाहौर में ही रहकर काम कर रहा था. वह पाकिस्तान में युवाओं के लिए हथियारों की ट्रेनिंग की व्यवस्था कर रहा था. साथ ही भारत में VIPs पर हमला करने के लिए हथियारों और गोला-बारूद की आपूर्ति करता था. वह अल्पसंख्यकों को भारत सरकार के खिलाफ भड़काने के उद्देश्य से रेडियो पाकिस्तान पर देशद्रोही और अलगाववादी कार्यक्रम प्रसारित कर रहा था. वह ड्रग्स की तस्करी में भी सक्रिय था और तस्करों व आतंकवादियों के बीच एक प्रमुख माध्यम था.
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जून, 1988 में खालिस्तान कमांडो फोर्स ने कुछ शीर्ष राजनीतिक नेताओं की हत्या कर दी थी और अक्टूबर 1988 में एक बम विस्फोट भी किया था. इस समूह ने फिरोजपुर में 10 राय सिखों को मार डाला था. खालिस्तान कमांडो फोर्स मॉड्यूल 1998 और 1999 में बम धमाकों के लिए जिम्मेदार था. पंजाब पुलिस ने खालिस्तान कमांडो फोर्स के कई मॉड्यूल का पर्दाफाश किया और विभिन्न आरोपियों को गिरफ्तार किया और हथियार, गोला-बारूद, विस्फोटक बरामद किया. Khalistani Paramjit Singh Panjwar shot dead
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