Lok Sabha Elections 2024: विपक्ष की गिनती केंद्रों पर सतर्कता की निश्चित तैयारियाँ, क्या है डर?
Lok Sabha elections के नतीजे घोषित होने में अब 24 घंटे से भी कम समय बचा है। चुनाव का पहला चरण 19 अप्रैल को शुरू हुआ था और सातवें और अंतिम चरण का मतदान 1 जून को हुआ। इस दौरान, विपक्ष ने EVM पर कई सवाल उठाए और कई जगहों पर छेड़छाड़ की आशंका भी जताई। इसी बीच, विपक्षी पार्टियों ने परिणाम वाले दिन के लिए अपनी तैयारियां पूरी कर ली हैं। समाजवादी पार्टी (एसपी), कांग्रेस जैसी पार्टियों ने पहले ही अपने कार्यकर्ताओं और उम्मीदवारों को सतर्क रहने के निर्देश दिए हैं।
SP प्रमुख अखिलेश यादव ने अपने उम्मीदवारों से कहा है कि वे किसी भी तरह की बीजेपी की चाल से गुमराह न हों। पूरी तरह से सतर्क, सावधान और चौकस रहें। SP प्रमुख ने कहा कि जब तक वोटों की गिनती खत्म न हो जाए और विजय प्रमाण पत्र न मिल जाए, तब तक पूरी तरह सतर्क और सावधान रहें और बीजेपी के लोगों से गुमराह न हों।
वहीं, कांग्रेस ने पार्टी मुख्यालय से यूपी के राष्ट्रीय कार्यालय तक विशेषज्ञों की टीम तैनात करने का दावा किया है। यूपी कांग्रेस ने हल्ला बोल टीम तैनात करने का दावा किया है। गिनती के स्थान से लेकर राज्य और देश की राजधानी तक सभी विशेषज्ञ और बड़े नेता एक-दूसरे से जुड़े रहेंगे। इसके अलावा, जिला, राज्य और राष्ट्रीय स्तर पर वार रूम और कानूनी दस्ते तैनात किए गए हैं। हल्ला बोल टीम, आंदोलन और घेराव दल गिनती के स्थान पर हर समय तैयार रहेंगे।
EVM कहां रखी जाती हैं?
EVM को विभिन्न Lok Sabha क्षेत्रों में बने स्ट्रॉन्ग रूम में रखा जाता है, जहां चुनाव आयोग के अधिकारी और सुरक्षा अधिकारी 24×7 निगरानी करते हैं। मतदान खत्म होने के बाद, EVM को सील करके संबंधित मतदान कर्मियों द्वारा स्ट्रॉन्ग रूम में ले जाया जाता है। स्ट्रॉन्ग रूम को उम्मीदवारों के प्रतिनिधियों, चुनाव आयोग के अधिकारियों की उपस्थिति में सील किया जाता है और पूरी प्रक्रिया को नियमों के अनुसार वीडियोग्राफ किया जाता है।
विपक्षी पार्टियों की मांग क्या है?
विपक्षी पार्टियां EVM को लेकर संदेह जताती रही हैं। वे रविवार को चुनाव आयोग के कार्यालय पहुंचीं, जहां उन्होंने मतगणना के दौरान सभी दिशानिर्देशों का पालन करने की मांग की। उन्होंने मांग की कि डाक मतपत्रों के नतीजे EVM के नतीजों से पहले घोषित किए जाएं।
विपक्ष का कहना है कि वोटों की गिनती के दौरान पहले डाक मतपत्र गिनने का नियम है, जिसे चुनाव आयोग ने एक दिशा-निर्देश के माध्यम से बदल दिया है। इंडिया ब्लॉक के नेताओं ने मांग की कि पहले डाक मतपत्र गिने जाएं और फिर EVM के वोट गिने जाएं। विपक्ष का कहना है कि चुनाव आयोग को मतगणना प्रक्रिया के लिए स्पष्ट दिशानिर्देश जारी करने चाहिए और उनके कार्यान्वयन को सुनिश्चित करना चाहिए।
उन्होंने आयोग से मांग की कि EVM की कंट्रोल यूनिट सीसीटीवी निगरानी में होनी चाहिए और कंट्रोल यूनिट का सत्यापन किया जाना चाहिए। EVM की कंट्रोल यूनिट में मतदान प्रक्रिया के शुरू और खत्म होने के समय और तारीख को मिलाया जाना चाहिए। सील करते समय जो पर्ची और टैग लगाया जाता है, उसे सभी गिनती एजेंटों को सत्यापन के लिए दिखाया जाना चाहिए।