सत्यखबर, नई दिल्ली
सूर्य ग्रह मौसम में बदलाव की मुख्य वजह है। सौरमंडल में सूर्य अपने निर्धारित कक्ष में चक्कर लगाता है, जबकि पृथ्वी सूर्य के चक्कर लगाती हैं। उन दोनों की स्थिति के आधार पर ही मौसम में बदलाव होता है। जब पृथ्वी की भूमध्य रेखा बिल्कुल सूर्य के सामने पड़ती है, तो उसे इक्विनॉक्स कहा जाता है। यह साल का ऐसा दिन है, जब दिन और रात एकसमान होते हैं। आमतौर पर, ऐसा साल में दो बार अमूमन 21 मार्च और 23 सितंबर के दिन होता है। इक्विनॉक्स के बाद ही मौसम बदल जाता है। हालांकि, कभी-कभी ग्रहों की स्थिति के अनुसार इसमें कुछ बदलाव भी होता है। आज 23 सितंबर है और आज भी इस साल का ऑटम इक्विनॉक्स है- अर्थात् आज दिन और रात एकसमान रहने वाले हैं और कल से अर्थात् 24 सितंबर से दिन छोटे और रातें लंबी होने लगेंगी।
तो चलिए आज इस लेख में हम आपको इक्विनॉक्स के बारे में विस्तारपूर्वक बता रहे हैं- कब है ऑटम इक्विनॉक्स
आमतौर पर, उत्तरी गोलार्ध के लिए ऑटम इक्विनॉक्स सितंबर माह में होता है। इसकी स्थिति पृथ्वी की कक्षा से तय होती है और हर साल इसका समय थोड़ा अलग हो सकता है। इस साल ऑटम इक्विनॉक्स 23 सितंबर को है। इक्विनॉक्स साल में दो बार आते हैं। स्प्रिंग इक्विनॉक्स आमतौर पर 20 मार्च के आसपास पड़ता है, जैसा कि इस वर्ष हुआ था।क्या है ऑटम इक्विनॉक्स इक्विनॉक्स वह खगोलीय घटना है, जो उस क्षण को चिह्नित करती है जब पृथ्वी की भूमध्य रेखा सीधे सूर्य के पथ के केंद्र से होकर गुजरती है। यदि आप उस दिन भूमध्य रेखा से सूर्य को देखना चाहते हैं, तो यह सैद्धांतिक रूप से हमेशा ही तरह पूर्व की ओर से उदय होगा और पश्चिम की ओर अस्त होगा। साल में दो तिथियों पर, उत्तरी और दक्षिणी दोनों गोलार्ध सूर्य की किरणों को समान रूप से साझा करते हैं। इस दिन रात और दिन, 24 घंटों के लिए, लगभग समान लंबाई के होते हैं। इक्विनॉक्स नाम लैटिन aequus से लिया गया है, जिसका अर्थ है बराबर, और nox, शब्द रात के लिए है।
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दक्षिणी गोलार्द्ध में होगा प्रवेश शरद ऋतु और वसंत इक्विनॉक्स तब मार्क होते हैं जब दो गोलार्ध आपस में बदल जाते हैं। आज से सूर्य दक्षिणी गोलार्द्ध में प्रवेश कर जाएंगे। दक्षिणी गोलार्द्ध में सूर्य के प्रवेश करने से उत्तरी गोलार्द्ध में सूर्य की किरणों की तीव्रता कम हो जाती है। जिसके कारण ठंडक का अहसास होने लगता है और इस प्रकार सर्दियां शुरू हो जाती हैं।जानिए ऑटम इक्विनॉक्स का महत्व साल में दो बार आने वाले यह इक्विनॉक्स केवल मौसम में बदलाव को ही चिन्हित नहीं करते हैं, बल्कि इनका अन्य भी महत्व है। यद्यपि ग्रीष्म और शीतकालीन संक्रांति शायद अधिक सामान्यतः प्राचीन उत्सवों से जुड़े होते हैं, वहीं इक्विनॉक्स भी दुनिया भर के लोगों के लिए भी महत्व रखते हैं। ऑटम इक्विनॉक्स का फसल के साथ एक गहरा संबंध है। यूके का ट्रेडिशनल हारवेस्ट फेस्टिवल कैलेंडर में पूर्णिमा के सबसे निकटतम रविवार के दिन मनाया जाता है। वहीं, माबोन के पेगन फेस्टिवल में भी, आने वाली सर्दियों के लिए पर्याप्त भोजन प्रदान करने के लिए, इक्विनॉक्स के दिन ही जानवरों का ना केवल वध किया जाता है, बल्कि उन्हें संरक्षित भी किया जाता है।
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