सत्य खबर, तिरुवनंतपुरम
केरल में एक झूठे रेप केस (False rape case) मामले में चौंकाने वाला मोड़ आ गया है. केरल अपराध शाखा अब महिला शिकायतकर्ता के खिलाफ ही मामला दर्ज करने की योजना बना रहा है, जिसने तिरुवनंतपुरम में एक स्वामी का लिंग काट दिया था. पुलिस को पता चला है कि 23 वर्षीय महिला ने अपने अपराध को छिपाने के लिए कहानी गढ़ी और स्वामी गंगेश्वरानंद को बलात्कार के मामले में झूठा फंसा दिया.
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अपराध शाखा की जांच में पता चला है कि शिकायतकर्ता ने अपने प्रेमी अय्यप्पादास के साथ, जो कि वहीं का शिष्य है, ने इस डर से अपराध किया कि स्वामी उनकी शादी को स्वीकार नहीं करेंगे. पुलिस ने बताया कि महिला और अयप्पादास ने स्वामी पर हमला करने और उन्हें बलात्कार के एक झूठे मामले में फंसाने की साजिश रची. पुलिस ने कहा कि दोनों साजिश के लिए कोल्लम और अलाप्पुझा में मिले थे.महिला की मोबाइल फोन फोरेंसिक रिपोर्ट ने पुष्टि की है कि उसने घटना से पहले लिंग के विच्छेदन पर कई वीडियो की जांच की थी. यह अपराध 19 मई 2017 को हुआ था. शिकायतकर्ता ने तब पुलिस को बताया था कि स्वामी गंगेश्वरानंद ने उसके आवास पर उसका यौन शोषण करने की कोशिश की. आत्मरक्षा में उसने उनका लिंग काट दिया. पुलिस ने स्वामी के खिलाफ दुष्कर्म का मामला दर्ज किया. लड़की ने मजिस्ट्रेट के समक्ष भी यही कहा था.
गंगेश्वरानंद ने पहले पुलिस को बताया कि उसने अपना लिंग काट लिया था और बाद में कहा कि जब वह सो रहा था तब कुछ अज्ञात लोगों ने उस पर हमला किया था. बाद में लड़की ने पुलिस से संपर्क किया और कहा कि स्वामी ने उस पर हमला नहीं किया लेकिन उसके सहयोगी अयप्पादास ने उस पर हमला किया था. जब गंगेश्वरानंद ने मामले को रद्द करने के लिए उच्च न्यायालय का दरवाजा खटखटाया तो लड़की ने स्वामी के समर्थन में बयान दिया.
गंगेश्वरानंद ने तब डीजीपी को एक याचिका दी. जिसमें आरोप लगाया कि उनके खिलाफ मामले में वरिष्ठ पुलिस अधिकारियों को शामिल करने की साजिश थी और बाद में मामला अपराध शाखा को सौंप दिया गया. पुलिस ने कहा कि उन्होंने कानूनी राय मांगी है क्योंकि उन्हें शिकायतकर्ता के खिलाफ ही मामला दर्ज करना होगा. यदि कानूनी सलाह इस तरह के कदम के समर्थन में है, तो अपराध शाखा शिकायतकर्ता और उसके पूर्व सहयोगी अयप्पादास के खिलाफ मामला दर्ज करेगी.
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