सत्य खबर, गुरुग्राम,सतीश भारद्वाज । दिल्ली मुंबई एक्सप्रेस हाईवे बुधवार को आम जनता के लिए खोल दिया गया है। इसका उद्घाटन रविवार को प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने किया था। क्या होगा खास बताते हैं आपको।
दिल्ली-एनसीआर
इस एक्सप्रेसवे पर एडवांस टेक्नोलॉजी से हर गतिविधि की निगरानी की जाएगी। यहां प्रत्येक किलोमीटर पर कैमरा लगाया है जो दिन और रात के समय दोनों तरफ करीब 500 मीटर तक की गतिविधियों को कैद कर सकते हैं। प्राप्त जानकारी के अनुसार
साइबर सिटी गुरुग्राम से गुलाबी नगरी जयपुर तक का सफर ढाई घंटे में पूरा होने का सपना साकार हो गया। दिल्ली-वडोदरा-मुंबई एक्सप्रेसवे के सोहना-दौसा खंड पर बुधवार से वाहनों का परिचालन आरंभ कर दिया गया। निर्धारित कार्यक्रम के अनुसार पूरी तैयारियों के साथ भारतीय राष्ट्रीय राजमार्ग प्राधिकरण (एनएचएआई) ने यहां से गुजरने वाले सबसे पहले यात्री से ही फीता कटवाकर इस पर यातायात परिचालन की औपचारिकता पूरी की।
इस एक्सप्रेसवे पर एडवांस टेक्नोलॉजी से हर गतिविधि की निगरानी की जाएगी। यहां प्रत्येक किलोमीटर पर कैमरा लगाया है जो दिन और रात के समय दोनों तरफ की गतिविधियों को कैद करने में सक्षम है। हर 10 किलोमीटर पर स्पीड कैमरे लगाए गए हैं, जिनकी मदद से ओवर स्पीड होते ही ऑनलाइन चालान किए जा सकेंगे।
बुधवार सुबह को सोहना के शिवकुंड निवासी राजेश किसी काम से जयपुर जा रहे थे। जैसे ही वह सुबह करीब 7:45 बजे हिलालपुर टोल पर पहुंचे, एनएचएआई के उप प्रबंधक खुशी राम भैरवा, परियोजना प्रबंधक जयवर्धन सिंह के साथ टोल प्लाजा प्रबंधक रामनाथ सिंह और दूसरे सदस्यों ने उन्हें टोल पर रोक लिया। इन लोगों ने राजेश को सम्मान के साथ गाड़ी से उतारकर पुष्पगुच्छ भेंट किया। इससे पहले की राजेश कुछ समझ पाते इन लोगों ने उसके हाथ में कैंची पकड़ाकर फीता काटने का अनुरोध किया। अधिकारियों ने राजेश को इस औपचारिकता की पूरी जानकारी दे दी।
देश के सबसे लंबे और खूबसूरत एक्सप्रेसवे पर वाहनों का परिचालन औपचारिक विधिवत आरंभ करने का अनुभव राजेश ने तस्वीरों के साथ अपने कैमरे में संजो लिया। एनएचएआई के अधिकारियों की ओर से मिले उत्कृष्ठ सम्मान पर राजेश ने इन लोगों को साधुवाद किया।
हर प्रवेश और निकास रोड पर मैसेज बोर्ड लगाए गए हैं।
यातायात निर्देशों के लिए हर प्रवेश और निकास पर मैसेज बोर्ड लगाए गए हैं। यह बोर्ड वाहन चालकों को उनके गंतव्य की ओर जाने में भी मददगार बनेंगे। इसके अलावा इन प्रवेश निकास पर वीडियो इंसीडेंड डिटेक्शन सिस्टम (वीआईडीएस) अपडेट किया गया है। अतिआधुनिक कैमरों के माध्यम से हर दुर्घटना और गतिविधि को ये कैद कर सकेंगे। इनकी मदद से रांग साइड आने वालों और प्रतिबंधित वाहनों पर लगाम लगाई जा सकेगी।
प्रति घंटाकरीब400 वाहनों ने फर्राटे से रफ्तार भरी।
एनएचएआई ने औसत के लिहाज से पहले दिन करीब शाम पांच बजे तक आठ घंटे में हिलालपुर टोल से करीब 4500 वाहन गुजरे का अनुमान लगाया है। फिलहाल यहां से गुजरने में निजी वाहन चालक ज्यादा रुचि ले रहे हैं। वाणिज्यिक वाहनों की अपेक्षा निजी वाहनों की संख्या ज्यादा रही।
टोल शुरू, जयपुर-दौसा के लिए देने होंगे 395 रुपये
एक्सप्रसेवे पर सफर शुरू करने के साथ ही टोल दरों को प्रभावी कर दिया है। पहला टोल देने वाला यात्री भी सोहना का राजेश ही बना। सफर के साथ ही यहां टोल वसूली आरंभ कर दी गई है। इस एक्सप्रेसवे से जयपुर जाने वालों को 395 रुपये एकतरफा यात्रा के चुकाने होंगे। अलीपुर से 181 किलोमीटर आगे भंडारराज तक टोल दर 395 रुपये होगी। भंडारराज से दौसा की दूरी आठ किलोमीटर है। यहां बनाए गए निकास से दौसा और जयपुर की ओर जा सकेंगे। यहां से इस एक्सप्रेसवे को दौसा से आगरा-जयपुर हाईवे पर मिलाया गया।
अलीपुर से खलीलपुर तक सबसे महंगा टोल
इस एक्सप्रेसवे पर अलग-अलग दूरी के लिए टोल दर औसत अलग-अलग है। अलीपुर से 228 किलोमीटर बड़कापारा तक वाहन चालक को प्रति किलोमीटर 2.19 रुपये औसत से 500 रुपये चुकाने होंगे। जयपुर-दौसा जाने के लिए भंडारराज तक 181 किलोमीटर के 2.18 रुपये की औसत से 395 रुपये टोल लगेगा। अलवर जाने के लिए 129 किलोमीटर पिनान तक 2.24 रुपये की औसत से 290 रुपये टोल लिया जाएगा। इस एक्सप्रेस पर अलीपुर से खलीलपुर तक सबसे महंगी औसत से टोल की अदायगी करनी होगी। अलीपुर से 19.8 किलोमीटर आगे खलीलपुर तक 4.73 रुपये की औसत से 90 रुपये टोल लगेगा। एनएचएआई के अनुसार अलीपुर से खलीलपुर के हिस्से में खर्च औसत ज्यादा है। एनएचएआई के नियम के मुताबिक टोल दरें ढांचागत सुविधाओं के लिहाज से तय की जाती हैं। इस हिस्से में तीन ब्रिज और तीन फ्लाईओवर हैं। इसी कारण यहां टोल दर का औसत ज्यादा है।
ग्रामीणों को नहीं मिलेगी छूट
इस एक्सप्रेसवे पर केवल नियम के तहत आने वाले सरकारी वाहनों को टोल से छूट मिलेगी। आसपास के ग्रामीणों को किसी प्रकार की कोई छूट नहीं मिलेगी। आमतौर पर हाईवे के टोल प्लाजा पर एक निश्चित दूरी के ग्रामीणों को टोल में छूट प्रदान की जाती है, लेकिन इस एक्सप्रेसवे पर किसी प्रकार की छूट प्रभावी नहीं होगी।
दो एडवांस ट्रैफिक मैनेजमेंट सेंटर
सोहना से दौसा तक दो एडवांस ट्रैफिक मैनेजमेंट सेंटर बनाए गए हैं। एक सोहना के अलीपुर में और दूसरा राजस्थान के दौसा में। अलीपुर से हरियाणा की सीमा के 78 किलोमीटर हिस्से की निगरानी की जा सकेगी। हरियाणा का हिस्सा नूंह जिला के फिरोजपुर से थोड़ा खत्म होता है। यहां से दौसा के सेंटर से निगरानी होगी। सेंटर में पूरा कंट्रोल रूम बनाया गया है, जहां हर सीसीटीवी कैमरे, वीआईडीएस और स्पीड कैमरा को कनेक्ट किया गया है।
मार्शल तैनात किए गए
एक्सप्रेसवे पर वाहनों का परिचालन शुरू होते ही यहां प्रतिबंधों की निगरानी कड़ी कर दी गई है। हर प्रवेश और निकास के अलावा विभिन्न स्थानों पर मार्शल तैनात किए गए हैं। यह मार्शल टोल कलेक्शन कंपनी की ओर से लगाए गए हैं। दौसा तक 300 से अधिक मार्शल तैनात किए गए हैं।
बुधवार सुबह से एक्सप्रेसवे पर वाहनों का परिचालन शुरू कर दिया गया है। सफर के साथ टोल कलेक्शन भी शुरू हो गया है। अभी यातायात का दबाव कम है। लेकिन आने वाले दिनों में इस रूट से वाहनों की अधिक बढ़ने की उम्मीद है। वही एक समाचार की खबर के अनुसार अलवर वालों को इसका कुछ ज्यादा फायदा होता नजर नहीं आ रहा है। क्योंकि अलवर से टोल भी महंगा पड़ रहा है दिल्ली के लिए वही तिजारा भिवाड़ी की तरफ से छोटा रूट पड़ता है। वही टोल टैक्स भी कम देना पड़ता है।
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