सत्यखबर, नरवाना (सन्दीप श्योरान) :-
भारतीय किसान संघर्ष समिति के जिलाध्यक्ष सत्यवान दनौदा ने कहा कि धान की सरकारी खरीद शुरू न होने के कारण किसानों की धान की फसल औने-पौने दामों में बिक रही है, जिससे किसानों में भारी रोष है। उन्होंने नरवाना अनाज मंडी में धान की खरीद का जायजा लेने के उपरांत यह बात कही। उन्होंने कहा कि किसानों की धान 200 से 300 रुपए प्रति क्विंटल कट लगाकर खरीदा जा रहा है, जिससे किसानों को भारी नुक्सान उठाना पड़ रहा है। उन्होंने कहा कि पहले किसान लंबे समय में तैयार होने वाली धान की किस्म लगाते थे, लेकिन अब किसान 90 दिन में तैयार होने वाली धान की किस्म लगाते हैं। जो 15 जून को लगने पर 15 सितंबर तक पककर तैयार हो जाती है और अब किसान अपनी पक्की हुई फसल सरकारी खरीद शुरू न होने के कारण औने- पौने दामों पर बेचने पर मजबूर होना पड़ रहा है। उन्होंने कहा कि सरकारी खरीद शुरू न होने के कारण किसान की धान की फसल को व्यापारियों द्वारा कट लगाकर कम दामों में खरीदे जाने से किसान को भारी नुकसान उठाना पड़ रहा है। जिस तरह धान की फसल मंडी में जोरों पर पहुंच रही है, उसे देखते हुए सरकारी खरीद 15 सितंबर से शुरू होनी चाहिए, पर 1 अक्टूबर से भी खरीद नहीं हो रही है। उन्होंने सरकार से मांग कि है कि किसानों व व्यापारीयों के हितों को देखते हुए तुरंत प्रभाव से सरकारी खरीद शुरू की जाए। उन्होंने कहा कि सरकार के द्वारा मोटे धान का निर्धारित मूल्य 1835 है, लेकिन खरीददार अपनी मनमर्जी से किसानों की धान को कम दामों में खरीद रहे है और किसानों का शोषण कर रहे हैं। उन्होंने अनाज मंडियों व शैलरों के बाहर सीसीटीवी कैमरे लगाये जाने की मांग की। इस अवसर पर अशोक दनौदा, महेंद्र खरल, रमेश, लहरी दरौली खेड़ा, पवन शर्मा, लीलू बडऩपुर, कृष्ण, मनोज, लीला, बारू आदि मौजूद थे।
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