सत्य खबर। इंडिया
विदेश मंत्रालय ने सोमवार को सर्वोच्च न्यायालय को बताया कि ब्रिटेन में उच्चतम न्यायालय ने शराब कारोबारी विजय माल्या के प्रत्यर्पण का आदेश अभी तक लागू नहीं किया है। समाचार एजेंसी एएनआई के मुताबिक केंद्र सरकार ने शीर्ष अदालत से कहा कि उसे ब्रिटेन में चल रही कार्यवाही की जानकारी नहीं है।
समाचार एजेंसी की रिपोर्ट के अनुसार सॉलिसिटर जनरल तुषार मेहता ने कहा कि सरकार न तो कार्यवाही की प्रकृति से अवगत है और न ही ब्रिटेन के सुप्रीम कोर्ट में कोई पक्ष है जिसने माल्या के प्रत्यर्पण को मंजूरी दी थी।
माल्या के वकील यह बताने में भी असमर्थ थे कि ब्रिटेन में कानूनी प्रत्यर्पण की कार्यवाही कब समाप्त होगी। सुप्रीम कोर्ट ने माल्या के वकील को अगली सुनवाई में यूके में वर्तमान कार्यवाही की प्रकृति पर स्पष्टता प्रदान करने के लिए कहा। अगली सुनवाई दो नवंबर को होनी है। अदालत ने उस दिन कोर्टरूम में अपनी उपस्थिति सुनिश्चित करने के लिए विदेश मंत्रालय को निर्देश दिया है।
सुप्रीम कोर्ट ने इससे पहले माल्या की याचिका को खारिज कर दिया जिसमें 2017 के फैसले की समीक्षा करने के लिए अदालत की अवमानना के लिए दोषी ठहराया गया था। माल्या ने अदालत के आदेश का उल्लंघन करते हुए अपने बच्चों के लिए 40 मिलियन स्थानांतरित करने के लिए अवमानना का दोषी मानते हुए मई 2017 के अपने आदेश की समीक्षा की मांग की थी।
दलबदलू किंगफिशर एयरलाइंस के प्रमोटर शराब व्यापारी माल्या पर कथित धोखाधड़ी और मनी लॉन्ड्रिंग का आरोप लगाया गया है जो अनुमानित 9000 करोड़ है। वह वर्तमान में ब्रिटेन में हैं।
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