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सत्य खबर, नई दिल्ली
सड़क परिवहन और राजमार्ग मंत्रालय ने गाड़ियों से जुड़े निमय में बड़ा बदलाव कर दिया है.मंत्रालय ने बताया कि रजिस्टर्ड व्हीकल स्क्रैपिंग फैसिलिटी (RVSF) के लिए जरूरी साइबर सेफ्टी सर्टिफिकेशन की अब कोई जरूरत नहीं होगी. मंत्रालय ने कहा कि इस नए नियम के तहत अब RVSF को वाहनों के स्क्रैपिंग से पहले लोकल पुलिस के साथ वाहनों के रिकॉर्ड को सत्यापित करने की आवश्यकता नहीं होगी. मंत्रालय ने कहा कि इस फैसले से डीरजिस्ट्रेशन प्रोसेस ज्यादा आसान होगा.handy news for vehicle owners
मंत्रालय ने यह भी कहा कि उसने बिजनेस को आसान करने और बढ़ावा देने के लिए ट्रेड सर्टिफिकेट सिस्टम को आसान करने के लिए नए नियमों को अधिसूचित किया है. मौजूदा नियमों से कुछ परेशानियां थीं, जिससे बिजनेस करने वालों को समस्या हो रही थीं. ऐसे में अब सिर्फ उन्हीं वाहनों के लिए ट्रेड सर्टिफिकेट की जरूरत होगी जो न तो रजिस्टर्ड हैं और ना ही टेम्परेरी तौर पर रजिस्टर्ड हैं.ट्रेड सर्टिफिकेट के लिए आवेदन वाहन पोर्टल पर ऑनलाइन किया जा सकता है. इसके लिए आरटीओ ऑफिस भी नहीं जाना होगा. व्हीकल स्क्रैपिंग पॉलिसी 1 अप्रैल, 2022 से लागू की गई थी. नई पॉलिसी के अनुसार वाहनों के लिए 20 साल बाद फिटनेस टेस्ट का प्रावधान है, जबकि कमर्शियल व्हीकल के लिए 15 साल बाद इसकी आवश्यकता होगी.handy news for vehicle owners
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स्क्रैप पॉलिसी से देश की सड़कों से 15 से 20 साल पुराने वाहन अपने आप हट जाएंगे. इस पॉलिसी के मुताबिक 15 और 20 साल पुरानी गाड़ियों को फिटनेस टेस्ट से गुजरना होगा और अनफिट होने पर उनका रजिस्ट्रेशन रद्द कर उसे स्क्रैप (कबाड़) में भेज दिया जाएगा. कमर्शियल गाड़ियों के लिए 15 साल तो निजी गाड़ियों के लिए स्क्रैप की समय सीमा 20 साल तय की गई है.अगर आप अपनी गाड़ी को फिटनेस सेंटर नहीं ले कर जाएंगे तो फिटनेस टेस्ट ना कराने पर भी आपकी गाड़ी का रजिस्ट्रेशन रद्द कर दिया जाएगा. नियम के मुताबिक अगर आपको वाहन खरीदे 20 साल हो गया है और आपने फिटनेस सर्टिफिकेट नहीं लिया है, तो 1 जून 2024 के बाद आपका रजिस्ट्रेशन खत्म हो जाएगा.handy news for vehicle owners
15 साल से पुराने कमर्शियल वाहनों के लिए ये डेडलाइन 1 अप्रैल 2023 है. 15 साल बाद निजी गाड़ी का फिर से रजिस्ट्रेशन कराने के लिए आपको 8 गुना ज्यादा फीस देना होगा. जबकि कमर्शियल गाड़ियों के रि-रजिस्ट्रेशन के लिए फीस 20 गुना ज्यादा होगी.इससे पहले अभी हाल ही में सड़क परिवहन एवं राजमार्ग मंत्रालय ने ड्राइविंग लाइसेंस, वाहन पंजीयन और मालिकाना हक के स्थानांतरण जैसी नागरिकों से जुड़ी 58 सेवाओं को आधार सत्यापन के जरिए ऑनलाइन उपलब्ध करवा दिया है. आधार सत्यापन स्वैच्छिक होगा. इसके लिए अब लोगों को RTO के और अधिकारियों के चक्कर नहीं काटने होंगे.handy news for vehicle owners
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