सत्य खबर गुरुग्राम सतीश भारद्वाज :Corrupt officials do not take cognizance of public interest works in Gurugram at the CM window. The state is lagging behind and is ruled by an eminent person.
प्रदेश सरकार ने लोगों की सुविधा के लिए सीएम विंडो पोर्टल शुरू किया था। जिनको सीट पर बैठे भ्रष्ट और लापरवाह अधिकारी गंभीरता से नहीं ले रहे हैं। शहरवासी जैनेंद्र जैन, बी एस बंसल का कहना था कि गुरुग्राम में अधिकतर मामलों में देखा गया है कि सीएम विंडो शिकायतों पर कार्रवाई केवल खानापूर्ति और लीपापोती एमिनेंट परशन से मिलकर बन्द कर दी जाती है। जो शिकायतें विभागीय कर्मचारियों के भ्रष्टाचार से संबंधित या विभागों के किसी निर्णय से संबंधित होती हैं वे कई सालों तक विभागों में दबी पड़ी रहती हैं।
उन्होंने गुरुग्राम नगर निगम, एचएसवीपी व पुलिस विभाग की पोल खोलते हुए बताया की गुरुग्राम में उपरोक्त विभागो सहित अधिकतर विभागों में देखने में आया है की भ्रष्ट और लापरवाह अधिकारी सीएम विंडो की शिकायतों को गंभीरता से नहीं ले रहें हैं। जिनमें नीचे अधिकारियों सहित उच्च अधिकारियों की भ्रष्टाचार में संलिप्ता की पोल खुलने की वजह से जान बूझकर दफ्तरों की धूल चाट रहीं हैं। वहीं शहर वासी बिजेंद्र कुमार, अजीत कुमार, अशोक यादव,सतीश, अमित सहित दर्जनों लोगों ने बताया कि उनकी सीएम विंडो पर दी गई शिकायत कई सालों से दफ्तरों में दबी पड़ी हैं।
वहीं एक जागरूक नागरिक ने बताया पुलिस विभाग तो सीएम विंडो के एम्मीनेंट पर्सन के गलत साइन करके उनके सीएम विंडो शिकायतो को बंद कर रहे है। जबकि जिस पर्सन के उसपर साइन है वह जिले में इस नाम का कोई एम्मीनेंट पर्सन ना ही पहले कभी था और ना ही अब कोई है। जिस पर एक सीनियर आईपीएस अधिकारी के भी दस्तक हैं। जबकि यह मामला मुख्यमंत्री के ओएसडी के कानों तक भी पहुंचा था। 5-5 सालों से पेंडिंग चल रही है सीएम विंडो शिकायतें ।
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बता दे कि चंडीगढ़ में प्रदेश के मुख्य मंत्री के निर्देश पर उनके सलाहकार देवेंद्र सिंह रिटायर्ड आईएएस ऑफीसर ने सीएम विंडो की बैठक की अध्यक्षता करते हुए अधिकारियों को सख्त निर्देश भी दे चुके हैं, की भ्रष्टाचार के मामलों में किसी प्रकार की लापरवाही सहन नहीं की जाएगी। वही सीएम विंडो पर प्राप्त होने वाली शिकायतों का निपटान अधिकतम तीन सप्ताह के अंदर- अंदर कर दिया जाए। ताकि आम जनता को समय पर राहत मिल सके। इसमें देरी करने वाले अधिकारियों और कर्मचारियों पर नियमानुसार सख्त कार्रवाई की जाएगी। वही भुपेशवर दयाल को भी मामलों से अवगत कराया जा चुका है। मगर उनके निर्देश की पालना जिले में होती नजर नहीं आ रही है। इसके बारे में एक जागरूक शहरवासी ने शेखर यादव ने ट्वीट करके भी सरकार को टेंग किया है। वहीं मंगलवार को जिला उपायुक्त कार्यालय के प्रेस कॉन्फ्रेंस में सीएम विंडो के कर्ताधर्ता बनाए गए रिटायर्ड आईएएस देवेंद्र सिंह ने सीएम विंडो पोर्टल का बखान कर गए।