सत्य खबर चंडीगढ़
हरियाणा में बेरोजगारी के आंकड़ों पर रार छिड़ गई है। सेंटर फार मानीटरिंग इंडियन इकोनामी (सीएमआइई) के सर्वे में हरियाणा को बेरोजगारी में नंबर वन दिखाया गया है। इन आंकड़ों के आधार पर हरियाणा में 33.6 फीसदी बेरोजगारी है, जो देश में सबसे ज्यादा है। दूसरा नंबर त्रिपुरा का है, जहां 21.2 फीसदी और झारखंड को तीसरे नंबर पर रखते हुए वहां 21 फीसदी बेरोजगारी होने का दावा किया गया है। पंजाब में 16.8 फीसदी, दिल्ली में 18.2, उत्तर प्रदेश में 9.6 और बिहार में 19.5 फीसदी बेरोजगारी दिखाई गई है।
सीएमआइई ने हरियाणा में बताई 33.6 फीसदी बेरोजगारी, विपक्ष ने सरकार को घेरा
असम में सबसे कम 0.6, मेघालय में 1.1 और हिमाचल प्रदेश में 2.1 फीसदी बेरोजगारी बताते हुए इन तीनों राज्यों को सबसे खुशहाल बताया गया है। सीएमआइआई एक निजी कंपनी है,जिसके चेयरमैन एसके दवे और प्रबंध निदेशक महेश व्यास हैं। (सीएमआइई) हर साल इस तरह के आंकड़े जारी करती है। इन आंकड़ों के जारी होते ही विपक्ष ने सरकार की घेराबंदी कर ली। मुख्यमंत्री ने इसे कांग्र्रेस नेता की कंपनी बताया है।
विपक्ष की मजबूत घेराबंदी
पूर्व मुख्यमंत्री भूपेंद्र सिंह हुड्डा से लेकर राज्यसभा सदस्य दीपेंद्र सिंह हुड्डा, कांग्रेस की प्रदेश अध्यक्ष कु. सैलजा, मीडिया विभाग के चेयरमैन रणदीप सिंह सुरजेवाला, कांग्रेस नेता कुलदीप बिश्नोई, कांग्रेस विधायक दल की पूर्व नेता किरण चौधरी, हरियाणा विधानसभा में विपक्ष के नेता रह चुके इनेलो विधायक अभय सिंह चौटाला और हरियाणा कांग्रेस के पूर्व अध्यक्ष डा. अशोक तंवर ने अलग-अलग बयान जारी कर बेरोजगारी के बढ़े आंकड़े पर सरकार की घेराबंदी कर ली। इन नेताओं ने कहा कि लॉकडाउन के दौरान इंडस्ट्री बंद रही और बेरोजगारी का ग्राफ बढ़ गया। राज्यसभा सदस्य दीपेंद्र सिंह हुड्डा ने कहा कि प्राइवेट नौकरियों में 75 फीसदी आरक्षण सिर्फ जुमला है।
रोजगार देने और निवेश बढ़ाने की बजाय सरकार बेरोजगारी को बढ़ावा दे रही है। अभय सिंह चौटाला ने कहा कि इस मुद्दे पर सरकार से विधानसभा में जवाब मांगा जाएगा। रणदीप सिंह सुरजेवाला ने कहा कि सरकार कर्मचारियों की छंटनी करने में लगी है। पूर्व सीएम भूपेंद्र हुड्डा ने कहा कि प्रदेश में बेरोजगारों की फौज बढ़ती जा रही। किरण चौधरी और कु. सैलजा ने सदन से लेकर सड़क तक इन मुद्दों को उठाने की बात कही। कुलदीप बिश्नोई ने कहा कि कांग्रेस इस मुद्दे पर एक है।
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आंकड़े बनाने और फैलाने वाले यही षड्यंत्रकारी
हरियाणा के मुख्यमंत्री मनोहर लाल ने सीएमआइई के आंकड़ों की विश्वसनीयता पर सवाल उठाए हैं। उन्होंने कहा कि इन आंकड़ों का कोई आधार नहीं है। यह कोई सरकारी एजेंसी नहीं है। यह कांग्रेेस नेता की कंपनी है। कोई भी प्राइवेट संस्था ऐसे आंकड़े यदि कागज पर जारी कर दे तो उसे आधार नहीं बनाया जा सकता। मनोहर लाल ने कहा कि पहले 2017 में बेेरोजगारी दो फीसदी बताई गई। फिर सीधे 48 फ़ीसदी कहा गया। अब इसे 33 फ़ीसदी बताया जा रहा है।
उन्होंने कहा कि आज तक ऐसा कोई सिस्टम नहीं है जो यह बता सके कि आखिरकार बेरोजगारी कितनी है। मनोहर लाल ने विपक्ष खासकर कांग्रेस को लपेटते हुए कहा कि आंकड़े बनाने वाले भी यही हैं और उनको प्रचारित करने तथा फैलाने वाले लोग भी यही है। सीएमआइई के जिन आंकड़ों की बात की जा रही है, इस एजेंसी का एक मालिक कांग्रेस नेता है। इससे पता चलता है कि कांग्रेस षड्यंत्र रचने में नंबर वन है।
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