सत्य खबर चंडीगढ
हरियाणा में अब आठवीं कक्षा के विद्यार्थियों को पहले की तरह बोर्ड परीक्षा देनी होगी। प्रदेश में वर्ष 2009-10 में अंतिम बार आठवीं कक्षा की बोर्ड परीक्षा हुई थी। करीब 11 साल के लंबे अंतराल के बाद मौलिक शिक्षा निदेशक ने हरियाणा विद्यालय शिक्षा बोर्ड के सचिव को आठवीं की बोर्ड परीक्षाएं लेने के आदेश जारी कर दिए हैं।
2010 में अंतिम बार हुई थी आठवीं की बोर्ड परीक्षा
हरियाणा विद्यालय शिक्षा बोर्ड की अभी तक 10वीं और 12वीं कक्षा की परीक्षा होती है। राइट टू एजुकेशन एक्ट लागू होने के बाद दस साल पहले आठवीं कक्षा का बोर्ड हटा दिया गया था। आठवीं कक्षा तक कोई बच्चा फेल नहीं करने की नीति से छात्रों में डर खत्म हो गया था जिससे विद्यार्थी पढऩे में कम दिलचस्पी रखने लगे। इसके चलते शिक्षा स्तर में गिरावट आई और 10वीं और बारहवीं में बोर्ड रिजल्ट गिरता चला गया।
आदेश जारी कर मांगी एक्शन टेकन रिपोर्ट
तमाम कोशिशों के बावजूद पहली पारी में आठवीं की बोर्ड परीक्षा शुरू कराने में विफल रही मनोहर सरकार ने दूसरी पारी में विधानसभा के बजट सत्र में आठवीं में बोर्ड परीक्षाएं शुरू कराने का बिल पारित करा लिया था। अब शिक्षा विभाग ने विधिवत रूप से आठवीं की बोर्ड परीक्षाओं के लिए हरियाणा विद्यालय शिक्षा बोर्ड के सचिव को आदेश जारी कर दिए हैं।
कंपार्टमेंट आने पर मिलेंगे दो चांस
हरियाणा निशुल्क एवं अनिवार्य शिक्षा का अधिकार अधिनियम 2011 में बदलाव कर आठवीं की बोर्ड परीक्षाएं ली जाएंगी। शैक्षणिक वर्ष के अंत में यदि कोई छात्र न्यूनतम पास अंक प्राप्त नहीं करता है तो उसे पास होने के लिए दो अवसर और दिए जाएंगे। इस दौरान बच्चों को विशेष प्रशिक्षण भी दिया जाएगा और उसे फेल न करके अनुपूरक परीक्षा (प्रत्येक विषय में) देने का अवसर दिया जाएगा। कक्षा में स्टूडेंट एसेसमेंट टेस्ट के आधार पर ही बच्चों का वर्गीकरण कर लिया जाएगा।
इन विद्यार्थियों को उपचारात्मक शिक्षण,अतिरिक्त सहायक सामग्री और अतिरिक्त अभ्यास सामग्री की व्यवस्था की जाएगी। सतत एवं समग्र मूल्यांकन की समुचित व्यवस्था की जाएगी। मौलिक शिक्षा निदेशक ने बोर्ड सचिव को तुरंत प्रभाव से बोर्ड परीक्षाओं के संबंध में आवश्यक कदम उठाने तथा एक्शन टेकन रिपोर्ट देने को कहा है।
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